फरवरी
15 फरवरी के बाद पोटाश (एमओपी) खाद 1200 ग्राम प्रति पौधा डालनी है। हो सके तो इस समय पौधों की डें्रचिंग अवश्य करें। आपको ज्यादा जरूरी है बागीचे में रूट बोरर की समस्या ज्यादा देखी गई है।
मार्च
15 मार्च के बाद यूरिया 1 किलोग्राम प्रति पौधा डालें इसके 15 दिन बाद 1 किलोग्राम डोला माइट चूना जरूर डालना है। एसेडिक मिट्टी का पीएच नॉमर्ल होता है।
अप्रैल
सेब सेटिंग के बाद कैल्शियम नाइट्रेट की डोज 500 ग्राम प्रति पौधा डालनी है फलदार पौधे में इससे सेब का साईज अच्छा होता है। इसके साथ ही रोको या बैबिस्टिन फफूंदनाशक के साथ 1 किलो ग्राम कैल्शियम नाइट्रेट डालना भी जरूरी है। अप्रैल माह के बाद हर 15 दिन में फफूंदनाशक का स्प्रे करना जरूरी है तथा जून के अन्त में 150 ग्राम डोडीन की स्प्रे से पत्ते झड़े की समस्या खत्म हो जाती है। यह ध्यान रखें कि डोडीन के साथ अन्य दवाई न मिलाएं।
जून महीने में
डोडीन 150 ग्राम या माइक्रो-बूटानिल (इंडैक्स)-80 ग्राम की स्प्रे 200 लीटर पानी में 20 जून से पहले मैन्कोजेब यानी इंडोफिल 45 की स्प्रे कैल्शियम नाइट्रेट 1 किलो ग्राम के साथ करें। माईट के लिए इस महीने, मेडन 200 एमएलया ओबरॉन 80 एमएल करें। 200 लीटर पानी में इसके साथ किसी तरह का माइक्रोर्न न्यूट्रैन्ट मिलाए। इंडोफिल-45 की स्प्रे माइट के साथ कर सकते है।
जुलाई महीना
इस महीने मेें बागीचे की पत्ती की जांच करवा सकते है। स्प्रे में इन्डोफिल जेड़-78 या क्यूमान एल कर सकते है। बागीचे में पत्ते झडऩे की समस्या आ रही हो तो Trifloxystrobin 25% w/w + tebuconazole 50% w/w का छिडक़ाव कर सकते हैं। जुलाई में रूट बोरर के लिए तनों में ड्रेंचिंग करना आवश्यक है। इसके लिए प्रति ड्रम 200 लीटर पानी में 800 ग्राम क्लोरोपायरिफास डरमैट फोर्स में 200 ग्राम बैबिस्टीन मिलाकर ड्रेंच कर सकते है। दूसरा उपाय है कि आप 2 किलो ग्राम चूना व 2 किलो ग्राम नीला थोथा 200 लीटर में मिला कर प्रति पौधा 15 लीटर पानी डाल कर रूट रोट जैसी समस्या से भी निजात पा सकेंगे।
अगस्त
अगस्त में सेब तुड़ान के बाद ब्लाइटोक्स 600 ग्राम की स्प्रे बागीचे में करे। इसके साथ किसी तरह का माइक्रोन्यूट्रेन्ट या यूरिया न मिलाएं, इसके 15 दिन बाद 00:0:50 चिलेटिड कैल्शियम-100 ग्राम मैगनिशियम-100 व जिंक 100 ग्राम की स्प्रे करे इससे अगली साल के लिए बीमा मजबूत होता है। सेब तुड़ान के बाद बागीचे में 1 किलो ग्राम 12:32:16 खाद अवश्य डालें।
सितंबर में
आप का बागीचा धूप वाली साइड में है तो सितंबर में तनों पर चूना का लेप लगाना आवश्यक है। मार्च और सितम्बर माह में तनों में चूना लगाएं।
दिसंबर
दिसम्बर में टीएसओ की स्प्रे करने से मार्च में फ्लावरिंग एक समान होती है इसके लिए आपको 200 लीटर पानी में पांच लीटर टीएसओ मिलाकर स्प्रे करना जरूरी है। दिसम्बर में अगर टीएसओ की स्प्रे की है तो आप मई में दो लीटर समर ऑयल का स्प्रे अवश्य करें, इससे आपके बागीचे में स्केल और माइट की समस्या खत्म हो जाएगी।